-सीटू जिला कमेटी ने लिया निर्णय
भिंड। मेहनत करने वाले मजदूरों ने हजारों कुर्बानियां देकर काम के घंटे कार्य स्थल पर सुरक्षा समय पर वेतन मानदेय कार्य करते समय दुर्घटना होने पर आर्थिक सहायता सेवानिवृत्त के बाद मिलने वाली मासिक आर्थिक सहायता जिसे पैशन कहते थे। जिसे अटल बिहारी वाजपेई सरकार और 44 श्रम कानूनों को भारतीय जनता पार्टी मोदी सरकार ने समाप्त किया है।
इसलिए 18वीं लोकसभा चुनाव में मतदान के समय मजदूर कर्मचारियों को ध्यान रखना होगा। जिसने मजदूर कर्मचारियों के हितैषी कानूनों को खत्म किया है उसे सत्ता से हटाने के लिए मतदान करना चाहिए। आंगनबाड़ी केंद्रों का निजीकरण भाजपा मोदी सरकार करना चाहती है इसलिए उसके बजट में कटौती कर रहे परियोजना अधिकारी से लेकर आंगनबाड़ी कार्यकर्ता सहायिका को समय पर मानदेय वेतन नहीं मिलता है। उक्त बात सीटू जिलाध्यक्ष रामविलास गोस्वामी ने सीटू कार्यालय पर मीटिंग को संबोधित करते हुए कही।
मीटिंग में जिला महासचिव अनिल दौनेरिया ने कहा सीटू राजनीतिक दल नहीं है वह चुनाव नहीं लड़ सकता है। आज संविधान निर्माता डॉ भीमराव अंबेडकर की जयंती है जिन्होंने मतदान और मत का अधिकार समान रूप से मजदूर और कर्मचारियों को दिया है। 5 साल बाद श्रमिकों कर्मचारियों की विरोधी सरकार को सत्ता से उखाडऩे के लिए मतदान अवश्य करना होगा।
मीटिंग में मुख्य रूप से सीटू जिला उपाध्यक्ष देविंद्र शर्मा, नरेंद्र सिंह सेंगर, अशोक शर्मा, सचिव सेवाराम कुशवाहा, रामचंद्र भदौरिया, डॉ नदीम खान, रामरतन जाटव, राधामोहन शर्मा उपस्थित रहे। मीटिंग में मजदूरी कर्मचारियों के बीच अभियान चलाने का निर्णय लिया गया। जिसमें 10 हजार पर्चा वितरण नुक्कड़ मीटिंग करने एवं 1 मई को अंतराष्ट्रीय मजदूर दिवस मनाने का निर्णय सर्वसम्मति से लिया गया उक्त जानकारी प्रेस को जारी विज्ञप्ति में सीटू जिला महासचिव अनिल दौनेरिया ने दी