-मायावती से मिलकर ली बसपा की सदस्यता, पक्का हुआ लोकसभा टिकट
भिण्ड। दतिया-भिण्ड लोक सभा सीट से पूर्व में कांग्रेस के प्रत्याशी रहे देवाशीष जरारिया ने बुधवार को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देते हुए पार्टी पर दलितों का उपभोग करने का आरोप लगाया है। कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खडग़े के नाम लिखे इस्तीफे में जरारिया ने पार्टी में स्वयं की उपेक्षा होने का आरोप लगाते हुए कांग्रेस नेताओं पर स्वयं की राजनैतिक हत्या किए जाने का गंभीर आरोप लगाए। इस बीच इस्तीफा देने के बाद देवाशीष बसपा सुप्रीमो मायावती से मिलने पहुंचे और सदस्यता लेने के साथ अपना लोक सभा का टिकट भी पक्का किया।
बता दें के बीते लोकसभा चुनाव में देवाशीष जरारिया कांग्रेस के टिकट पर भिण्ड-दतिया सीट से चुनावी मैदान में उतरे थे। लेकिन इस चुनाव में मिली करारी हार के बाद एक बार फिर से वह इस सीट पर उम्मीदवारी जता रहे थे। कांग्रेस द्वारा हाल ही में भिण्ड-दतिया सीट से भाण्डेर से विधायक फूलसिंह बरैया का नाम घोषित कर दिया गया, जिसके बाद से जरारिया लगातार पार्टी के विरोध में आवाज उठा रहे थे। इस बीच उन्होने संगठन और वरिष्ठ नेत्रत्व से मिल कर मामला सुलझने की बात भी कही थी। अंतत: बुधवार को उन्होने कांग्रेस की प्राथमिक सदस्यता से अपना इस्तीफा देते हुए पार्टी व संगठन नेताओं पर गंभीर आरोप लगाए। कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष को लिखे गए इस्तीफे में देवाशीष ने कहा कि पार्टी एवं संगठन नेताओं के कहने पर ही वह पिछले पांच साल से क्षेत्र में सक्रिय होकर काम कर रहे थे, लेकिन उनकी राजनैतिक हत्या करते हुए पार्टी नेत्रत्व ने उन्हें दूध में मक्खी की तरह बाहर निकाल फेंक दिया। अपने इस्तीफे में जरारिया ने कांग्रेस को दलित और ओबीसी समाज की उपेक्षा करते हुए प्रदेश की 29 सीटों में से महज 5 पर टिकट देने की बात कही। इसके लिए उन्होने पार्टी के केन्द्रीय और प्रदेश नेत्रत्व को निर्णय लेने में नाकाम बताया। जरारिया के कांग्रेस छोडऩे को लेकर जहां कांग्रेसियों द्वारा उनके इस निर्णय को व्यक्तिगत लाभ न मिलने पर एहसान फरामोश बताया जा रहा है तो वहीं बसपा नेता इसे पार्टी को मजबूती प्रदान किए जाने वाला फैसला बता रहे हैं।
मायावती से मिले तो पक्का हुआ टिकट:
कांग्रेस से लोकसभा टिकट न मिलने से नाराज चल रहे देवाशीष जरारिया ने इस्तीफा सार्वजनिक करने के साथ ही बुधवार को बसपा में शामिल होने के लिए लखनऊ कूच किया। इस दौरान उन्होने सोशल मीडिया पर इस संबंध में एक वीडियो पोस्ट करते हुए उन्होने कांग्रेस द्वारा षडय़ंत्र के तहत टिकट काटे की बात कही। मंगलवार को कांग्रेस प्रत्याशी फूलसिंह बरैया द्वारा नामांकन जमा किए जाने के दौरान खुद को न बुलाए जाने के बाद यह फैसला लेने की बात कही। जहां उन्होने बसपा सुप्रीमो मायावती से मुलाकात की, जिसके बाद उन्हें पार्टी की सदस्यता देने के साथ भिण्ड-दतिया सीट से प्रत्याशी बनाते हुए टिकट पक्का किया। जिले में बहुजन समाज पार्टी कोर्डिनेटर द्वारा इस बात की पुष्टी करते हुए देवाशीष को टिकट दिए जाने की पुष्टी की।
लोस चुनाव में त्रिकोणीय हुआ संघर्ष:
गौरतलब है कि भिण्ड-दतिया लोकसभा सीट पर वर्तमान में बीजेपी-कांग्रेस के बीच सीध मुकाबला दिखाई दे रहा था। इस बीच कांग्रेस नेता देवाशीष जरारिया के बहुजन में शामिल होने के बाद टिकट पक्का होने पर यह मुकाबला त्रिकोणींय हो गया है। दिग्विजय खेमे से कांग्रेस नेता रहे देवाशीष पिछले पांच सालों से सक्रिय होकर पार्टी के लिए काम करते रहे हैं। ऐसे में उनके बसपा में जाने के बाद कांग्रेस का दलित और पिछड़े वर्ग का वोट बैंक काफी प्रभावित होता दिख रहा है। जो सीधे तौर पर कांग्रेस के लिए नुकसानदायक साबित होगा तो वहीं बीजेपी के लिए यह बदलाव बगैर किसी प्रयास के अचानक पौबारह होता दिख रहा है।