भिंड: कोर्ट के आदेश पर अमल के बाद खुला लोकनिर्माण का सील ऑफिस

-अस्थाई कर्मचारियों को भुगतान न देने पर डीएम ने की थी कार्रवाई

भिंड। लोक निर्माण विभाग में कार्यरत और सेवा निवृत्त हुए कर्मचारियों को अंतर राशि का भुगतान न करने पर हाईकोर्ट ग्वालियर द्वारा कलेक्टर को नोटिस दिए जाने पर तीन रोज पहले सील किया गया था। कार्यालय को न्यायालय के आदेश पर वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा अमल किए जाने के बाद सोमवार शाम 5 बजे खोल दिया गया।

बीते शुक्रवार को कलेक्टर संजीव श्रीवास्तव द्वारा पीडब्लूडी कार्यालय पहुंच कर उसके कर्मचारियों को बाहर निकालते हुए सील कर दिया गया था। 1988 से लेकर 1992 के बीच के कार्यरत अस्थाई कर्मचारियों ने स्थाई कर्मचारियों के तौर पर वेतनमान न दिए जाने पर हाईकोर्ट में पिटीशन दायर की थी। न्यायालय द्वारा नियमानुसार भुगतान दिए जाने का पूर्व के समय में आदेश दिया था। विभाग द्वारा अमल न किए जाने के बाद न्यायालय के आदेश की अवमानना किए जाने का मामला दायर किया गया।

हाईकोर्ट ने संज्ञान लेकर प्रकरण में कलेक्टर भिंड को भी नोटिस जारी किया। इस कार्रवाई के बाद बीती 17 मई को कलेक्टर स्वयं लोक निर्माण विभाग कार्यालय पहुंचे। उन्होंने ऑफिस में मौजूद कार्यपालन यंत्री सहित अन्य कर्मचारियों को बाहर निकाल कर ऑफिस को सील कर दिया। विभाग के वाहन को भी जब्त कर भुगतान की राशि वसूलने की कार्रवाई की गई।

जिला स्तर पर हुई इस कार्रवाई के बाद मामले ने तूल पकड़ा और भोपाल में लोक निर्माण विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों द्वारा समीक्षा की गई। तीन दिन बाद विभागीय स्तर पर इसको लेकर निर्णय करते हुए न्यायालय में अपना जबाब प्रस्तुत किया। इस संबंध में जानकारी देते हुए कार्यपालन यंत्री एबी साहू ने बताया कि जिन कर्मचारियों का प्रकरण न्यायालय में चल रहा था उन सभी को जल्द ही भुगतान किया जाएगा। इसकी विधिवत सूचना कोर्ट में दी गई है। इसके बाद कार्यालय को खोले जाने की अनुमति मिली है।

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